गोवंश संरक्षण के लिए योगी सरकार की नयी पहल, 200 गाय पालिए 1.80 लाख महीना कमाइए
By: Karishma Lalwani
Updated On: Jan, 11 2019 04:31 PM IST
लखनऊ. गौवंश संरक्षण के लिए उप्र सरकार ने नई पहल की है। प्रदेश के पशुपालन मंत्री एसपी सिंह बघेल गौवंश संरक्षण के साथ-साथ बेरोजगारों के लिए नया ऑफर लेकर आए हैं। इसके तहत आवारा पशुओं के लिए गौ संरक्षण केंद्र स्थापित करने के लिए प्रस्ताव दिया है। इन संरक्षण केंद्रों में घुमंतू जानवरों को रखा जाएगा ताकि वे किसानों की फसलों को नुकसान न पहुंचाएं। राज्य सरकार के प्रस्ताव में कहा गया है कि जिस भी किसान के पास पांच बीघा जमीन है वह उसमें 200 गायों या गौवंश को रखने के लिए संरक्षण केंद्र बना सकता है। सरकार प्रति गौवंश के लिए 30 रुपये खर्च देगी। इस हिसाब से हर रोज 6 हजार यानी 1.8 लाख महीना रुपये प्रति संरक्षण केंद्र को मिलेगा। इस राशि से गौवंश के लिए चारे-पानी आदि की व्यवस्था होगा। जबकि, संरक्षण केंद्र चलाने वाले व्यक्ति को गौवंश के गोबर, मूत्र और दूध आदि से अतिरिक्त कमाई हो सकेगी।
सरकार तलाश रही स्थायी समाधान
कैबिनेट मंत्री बघेल के मुताबिक सरकार किसानों के दर्द को महसूस कर रही है। किसान फसल के लिए रात-रात भर जागता है। गांव में लोग सडक़ बिजली, पानी और बिजली के बदले गौवंश की समस्या के समाधान के बारे में पूछते हैं। इसलिए सरकार इस समस्या का स्थायी समाधान तलाश रही है और इस पर काम शुरू हो गया है।
अब शर्तिया बछिया ही पैदा होंगी
अब शर्तिया बछिया ही पैदा होंगी
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य है जिसने वर्गीकृत वीर्य पर अमरीका के एबीसी कंपनी से समझौता किया है। वर्गीकृत वीर्य के इस्तेमाल से 92 प्रतिशत बछिया पैदा होगी। पांच महीने में हर अस्पताल में वर्गीकृत वीर्य उपलब्ध करा दिया जाएगा। बघेल ने बताया कि अगर योगी सरकार की इस नीति पर 10 साल उत्तर प्रदेश चल जाए, तो यह सबसे अच्छा पशुधन वाला राज्य बन जाएगा। इससे आवारा पशुओं पर तो रोक लगेगी ही बैलों की समस्या से भी निपटा जा सकेगा।
सभी जिलों गौ संरक्षण सदन का निर्माण
सभी जनपदों में गौ संरक्षण सदन का निर्माण किया जाना है। इसकी कुल लागत 1 करोड़ 20 लाख रुपये आएगी। प्रदेश में 52 जगहों पर निर्माण कार्य प्रगति पर है। हाथरस और अलीगढ़ में भी जगह चिन्हित कर ली गयी है।
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